हिमाचल प्रदेश में डैम सेफ्टी को लेकर नियम नहीं मानने वाले परियोजना प्रबंधकों पर सरकार कार्रवाई की तैयारी में है। अधिकारियों को इस दिशा में राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने आदेश दिए हैं, कि जो कोई भी नियमों की अनुपालना सही तरह से नहीं कर रहा है, उसके खिलाफ डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट के तहत कार्रवाई की जाए।
शासन और प्रशासन की ओर से जारी निर्देशों की अवहेलना करने वाले परियोजना प्रबंधकों को अब चेतावनी दे दी गई है। संबंधित विभाग ने साफ कर दिया है कि यदि परियोजना से जुड़े अधिकारी तय मापदंडों व सुरक्षा मानकों का पालन नहीं करते हैं, तो उनके विरुद्ध सख्त प्रशासनिक कार्रवाई की जाएगी।
प्रशासनिक अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि कई स्थानों पर निर्माणाधीन परियोजनाओं में नियमों की अनदेखी सामने आई है। यदि अगली निरीक्षण रिपोर्ट में भी यही स्थिति पाई गई, तो कार्य रोकने या जुर्माना लगाने जैसे कदम उठाए जाएंगे।
बीबीएमबी की परियोजनाएं जांच के घेरे में
भाखड़ा-ब्यास मैनेजमेंट बोर्ड (BBMB) की डैम परियोजनाओं, खासकर पंडोह और पौंग बांध, को लेकर ऊर्जा विभाग ने शिकायत दर्ज करवाई है कि सेफ्टी मानकों का ठीक से पालन नहीं हो रहा। राज्य सरकार द्वारा गठित डैम सेफ्टी कमेटी की रिपोर्ट में भी यह बात सामने आई है।
सीसीटीवी, अलर्ट सिस्टम अनिवार्य करने के निर्देश
राजस्व मंत्री ने जिलाधिकारियों को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं कि डैम परियोजनाओं के डाउनस्ट्रीम इलाकों में (कम से कम 4 किलोमीटर तक) सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं। साथ ही, पानी छोड़ने से पहले सार्वजनिक रूप से अनाउंसमेंट करना अनिवार्य होगा ताकि निचले क्षेत्रों में रहने वाले लोग समय रहते सतर्क हो सकें।
प्रदेश में 24 डैम परियोजनाएं, सबसे अधिक जोखिम पंडोह व पौंग में
हिमाचल प्रदेश में वर्तमान में 24 डैम परियोजनाएं संचालित हो रही हैं, जिनमें से पंडोह और पौंग डैम को सबसे ज्यादा जोखिम वाला माना गया है। इन डैम्स में पूर्व में आई आपदाओं से मानव जीवन और संपत्ति को भारी नुकसान हुआ है।
मानसून समीक्षा बैठक में राहत कार्यों की समीक्षा
सोमवार को मानसून की स्थिति पर समीक्षा बैठक में राजस्व मंत्री ने सभी विभागों से जिला स्तर की तैयारियों की रिपोर्ट ली। बैठक में लोक निर्माण, जल शक्ति, बिजली बोर्ड, एसडीआरएफ और अन्य विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।
जानकारी दी गई कि:
- कांगड़ा और मंडी जिलों में भारी बारिश जारी है।
- 234 सड़कों पर भूस्खलन और जलभराव के कारण यातायात बंद है, जिन्हें बहाल करने का प्रयास चल रहा है।
- 968 ट्रांसफार्मर प्रभावित हैं, बिजली बहाली के प्रयास जारी हैं।
- 23 पेयजल योजनाएं भी प्रभावित हुई हैं।